सरकारी मोर्चरी में मृतकों के फेंके गए नर कंकाल !
सुरक्षित रखने को कौन कहे ,मिटा दिए गए सबूत !

(सुल्तानपुर) सरकारी अस्पताल का यह वर्षो पुराना पोस्टमार्टम हाउस अब नए पोस्टमार्टम हाउस में शिफ्ट हो गया है। पुराने शव विच्छेदन गृह में रखे गए पोस्टमार्टम से संबंधित तमाम औजार या अन्य तरह के उपकरण और फर्नीचर आदि कई तरह के सामनों को नए पोस्टमार्टम हाउस में शिफ्ट कर दिया गया। लेकिन जिन मृतकों के शवों के विभिन्न अंग प्रत्यंग वहीं पर रखे हुए थे उसे चुनहा क्षेत्र स्थित नई बिल्डिंग में लाकर सुरक्षित रूप से नहीं रखा गया।जबकि इसकी जिम्मेदारी सरकारी स्वास्थ महकमे की है।
पोस्टमार्टम हाउस में ड्यूटी पर कार्यरत स्वास्थ एवं चिकित्सा विभाग के कर्मचारियों की है। इसकी मुकम्मल जवाबदारी स्वास्थ महकमें की बनती है। अपने कार्यकलापों से विवादित रहने वाले सुल्तानपुर मेडिकल कॉलेज के प्रिंसिपल डॉ सलिल श्रीवास्तव की जिम्मेदारी सबसे पहले है। पुराने पोस्टमार्टम हाउस में मृतकों के शवों के जो कंकाल , हड्डियां आदि खुले में पड़े हुए धूप और बारिश में सड़गल रहे हैं तो यह कैसे पता चलेगा कि कौन सा अंग किस मृतक का है❓ मृतक पुरुष था या महिला❓ बालक,वृद्ध या जवान कुछ भी नहीं पता लगेगा। ऐसी स्थिति में कोर्ट में सबूत के तौर पर पेश कर पाना भी मुश्किल होगा। सुरक्षित नहीं रखे जाने की वजह से कौन सा अंग किस मृतक का था पता ही नहीं चलेगा। इस कारण कोर्ट में चल रहा केस भी प्रभावित हो जाएगा। जो कि मुकदमे के ट्रायल के दौरान बहुत अहम सबूत माना जाता है। अगर किसी हड्डी बिनवा की नजर खुले में फेंके गए बिखरे कंकालों पर पड़ गई तो वह मानवों की इन हड्डियों को उठा ले जाएगा।तब तो कुछ भी पता नहीं चलेगा। क्योंकि सबूत ही गायब हो जाएंगे तो कोर्ट में चल रहे मुकदमे का क्या और कैसे निस्तारण होगा❓ अस्पताल प्रशासन और न्यायिक व्यवस्था को इस गंभीर मामले में स्वतह संज्ञान लेकर जिम्मेदार कर्मियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करनी चाहिए।
करीब दो दर्जन थानों से भेजी जाती है डेड बॉडी
जनपद सुल्तानपुर से तकरीबन दो दर्जन डेड बॉडी पोस्टमार्टम हाउस को भेजी जाती है।लेकिन पुराने पोस्टमार्टम हाउस में थानों की संख्या आज की अपेक्षा कम थी फिर भी काफी संख्या में कंकाल और अज्ञात शव यहाँ लाये जाते थे।थानाक्षेत्र में नर कंकालों के मिलने के बाद हल्के की सिपाही और दरोगा उक्त शव को सुरक्षित रखते हुए पोस्टमार्टम के लिए भेजते थे ।पुलिस लाइन परिसर स्थित पीएम हाउस में कई कंकाल तो आज भी बोरी में भर के यहां रखे हुए दिखाई दे रहे।जिनकी अस्थियां इधर-उधर बिखरी पड़ी हैं।जब फोटो खींची गई तो बोरियों में पसली, नरमुंड ,कंकाल इत्यादि दिखाई दे रहे थे। बताया जाता है कि कई कंकालों का ब्यौरा पुलिस दर्ज करके उसे टीम भेज कर यहां पोस्टमार्टम करवाया जाता था आज दरवाजा टूटने के बाद महकमें की पोल खुल गई ।अस्थियों के लापरवाही पूर्ण तरीके से दिखने की घटना मानवता को शर्मसार कर रही है ।साथ ही जिम्मेदार विभाग की लापरवाही भी उजागर कर रही है।सीएमओ भारत भूषण ने कहा कि यह गंभीर विषय है।किसी को भेजकर या मैं खुद वहाँ जाकर इसकी जांच करूँगा, रिकार्ड भी सुरक्षित करने का कार्य किया जाएगा।
उधर एसपी कुंवर अनुपम सिंह को कई बार फोन मिलाया गया लेकिन बात न हो सकी।




